

जालंधर : महानगर में जय श्री राम कहने पर हिन्दू व्यक्ति से मारपीट किए जाने के खिलाफ पूरे हिन्दू समाज में रोष है। इस बारे में रुद्र सेना संगठन के चेयरमैन दयाल वर्मा ने बताया कि आज की घटना की जितनी निंदा की जाए कम है क्योंकि इस घटना ने यह बात सोचने पर मंजबूर कर दिया कि वाकई पंजाब में हिन्दू असुरक्षित हैं। उन्होंने कहा कि जय श्री राम कहना हर सनातनी का अधिकार है और इस अधिकार में जो खलल डालेगा उसे अंजाम भुगतने को तैयार रहना होगा। उन्होंने कहा कि लोग कुछ शरारती तत्व पंजाब को बंगलादेश बनाना चाहते हैं लेकिन उन्हें इस बात को समझना होगा कि पंजाब में रहना है जय श्री राम का उद्घोष सुनना ही पड़ेगा। उन्होंने कहा कि जय श्री राम का उद्घोष केवल एक धार्मिक नारा नहीं है, बल्कि यह भारतीय संस्कृति और परंपरा का प्रतीक है। जब हम “जय श्री राम” कहते हैं, तो हम न केवल भगवान राम की महिमा का गुणगान करते हैं, बल्कि अपने जीवन में सकारात्मकता और शक्ति का संचार भी करते हैं। भगवान राम को आदर्शों का प्रतीक माना जाता है। उनका जीवन हमें सिखाता है कि कैसे कठिनाइयों का सामना करना चाहिए और सच्चाई के मार्ग पर चलना चाहिए। जय श्री राम” कहने से हमें उनकी शिक्षाओं की याद आती है, जो हमें प्रेरित करती हैं। यह नारा हमें एकजुटता और भाईचारे की भावना से भी जोड़ता है। वैसे भी समाज में जय श्री राम का नारा एकजुटता और सहयोग का संदेश देता है। उन्होंने कहा कि जो शरारती तत्व हिन्दू समाज के खिलाफ कोई साजिश रचेगा उसकी साजिश सफल नहीं होने देंगे।










